उत्तराखंड। उत्तराखंड में लगातार दो महीनों से जारी शुष्क मौसम ने पूरे प्रदेश में सूखी ठंड को और अधिक तीखा बना दिया है। सुबह और शाम के तापमान में भारी अंतर देखने को मिल रहा है, जबकि सामान्य तापमान में अपेक्षित गिरावट नहीं हो रही है। धूप भरे दिनों के चलते न्यूनतम तापमान भी स्थिर या बढ़ा हुआ है, जिससे सर्दी का असर अलग तरीके से महसूस हो रहा है। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि अक्टूबर से लगातार प्रदेश भर में खिली धूप इस अनोखे तापमान पैटर्न की मुख्य वजह बन चुकी है।
सोमवार को दून में अधिकतम तापमान सामान्य से एक डिग्री ज्यादा दर्ज हुआ और यह 25 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। वहीं न्यूनतम तापमान 7.8 डिग्री रहा, जो सामान्य से एक डिग्री कम है। इसके उलट पर्वतीय जिले नई टिहरी में दिन का अधिकतम तापमान सामान्य से दो डिग्री बढ़कर 20.6 डिग्री रहा, जबकि रात का न्यूनतम तापमान भी सामान्य से पांच डिग्री अधिक 9.3 डिग्री रिकॉर्ड किया गया। मुक्तेश्वर में भी तापमान का रुझान इसी तरह बना रहा—दिन का तापमान सामान्य से पांच डिग्री ज्यादा 21.3 डिग्री तथा न्यूनतम तापमान भी सामान्य से पांच डिग्री बढ़कर 9.3 डिग्री तक पहुंच गया।
मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार तीन दिसंबर तक पूरे प्रदेश में मौसम शुष्क रहेगा, लेकिन इसके बाद बदलाव की स्थिति तेज़ी से सामने आएगी। लंबे इंतजार के बाद चार दिसंबर से मौसम का मिजाज बदलने की संभावना है। उत्तरकाशी, पिथौरागढ़ और चमोली जिलों के कुछ इलाकों में हल्की बारिश की संभावना जताई गई है। वहीं 3500 मीटर से अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में ताज़ी बर्फबारी होने की प्रबल संभावना है। वैज्ञानिकों का अनुमान है कि यह बदला हुआ मौसम सात दिसंबर तक प्रभाव में रह सकता है, जिससे ठंड और अधिक प्रभावी रूप से बढ़ सकती है।
लगातार शुष्क मौसम के कारण जहां लोग सूखी ठंड से परेशान हैं, वहीं किसानों को भी नमी की कमी का असर फसलों पर दिखाई देने लगा है। ऐसे में बारिश और ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी की उम्मीदें प्रदेश भर में राहत की उम्मीद लेकर आई हैं।
