बरेली। बरेली के सीबीगंज में शोहदे का शिकार होने के बाद से जिंदगी से जूझ रही छात्रा को होश आ गया है। परिवार को एक बार फिर उम्मीद बंधी है कि उसका जीवन बच जाएगा। सीबीगंज थाना क्षेत्र में ट्रेन की पटरी पर फेंकी गई छात्रा के दोनों पैरों को दोबारा ऑपरेशन कर काट दिया गया था।
बुधवार को दूसरे दिन होश में आने पर बिटिया ने अपने पिता से बात की। छात्रा के पिता के मुताबिक, डॉक्टरों ने उन्हें आश्वासन दिया है कि बेटी अब खतरे से बाहर है। इससे छात्रा के पिता काफी खुश दिखे। कहा कि उनसे बातचीत के दौरान बेटी मुस्कुराई भी थी। पिता ने बताया कि बेटी का जीवन बच जाए, सभी लोग इसकी दुआ कर रहे हैं।
आपको बता दें कि छात्रा का तीन घंटे तक ऑपरेशन कर दोनों पैर जांघों के पास से काट दिए गए। सात डॉक्टरों के पैनल ने ऑपरेशन किया। अब तीसरे दिन पट्टी खुलने पर ऑपरेशन की सफलता को लेकर स्थिति साफ होगी। पीड़ित छात्रा का उपचार निजी मेडिकल कॉलेज में आयुष्मान कार्ड से चल रहा है। सीबीगंज थाना इलाके में कुछ दिन पहले छात्रा लहूलुहान हालत में रेलवे ट्रैक पर मिली थी।
तब उसके दोनों पैर घुटने से नीचे से और बायां हाथ कोहनी के पास से कटा था। छात्रा के पिता ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि एक शोहदे ने छेड़खानी के विरोध पर बेटी को ट्रेन के आगे धकेल दिया था। वह बेटी को अक्सर छेड़ता था। आरोपी व उसके पिता अभी जेल में हैं। घटना के दिन रेलवे ट्रैक पर पड़े छात्रा के हाथ-पैर उसके पिता व परिजनों ने दफन किए थे।
पिछड़ा वर्ग व दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार नरेंद्र कश्यप के कार्यालय से छात्रा के परिजनों को पत्र के जरिये सूचना दी गई है। इसके मुताबिक राज्यमंत्री 27 अक्तूबर को दोपहर सवा बजे छात्रा के गांव पहुंचकर पीड़ित परिवार को सांत्वना देंगे। इसके अलावा वह सर्किट हाउस में विभागीय समीक्षा बैठक भी करेंगे।
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